आपके साथ आज प्राचीन भारतीय इतिहास के स्मरणीय तथ्य share करने जा रहा हूँ जो आपके आगामी Civil Services Prelims परीक्षा में काम आयेंगे.
Ancient History Valuable Facts
- प्राचीन भारत का इतिहास जानने के लिए “पुराण” एक महत्त्वपूर्ण स्रोत है. इसका अर्थ है प्राचीन. इसकी संख्या 18 है. इससे प्राचीन राजवंशों और भारत के भूगोल की जानकारी मिलती है.
- पुराण की रचना उत्तर वैदिक काल में हुई थी. इसमें विष्णु के अवतारों का उल्लेख है. साथ ही, इसमें विविध विद्याओं, भक्ति-भावना, दर्शनशास्त्र, धर्मशास्त्र, काव्य आदि की भी चर्चा की गई है.
- दक्षिण में संगम साहित्य और तमिल भाषा का विकास हुआ.
- भारतीय शिल्पकला का विकास प्राचीनकाल से हुआ. सिन्धु सभ्यता की नगर योजना, स्नानघर, भण्डारगृह, नाली-व्यवस्था आदि उच्चकोटि की थी. वैदिक काल में लोहे के दुर्ग और स्तम्भ बनाए जाते थे. मौर्यकाल में वास्तुकला का विकास हुआ.
- मंदिर और मूर्ति-निर्माण में महत्त्वपूर्ण विकास हुआ.
- लोग कताई, बुनाई, लकड़ी का काम, बर्तन, गहना, हथियार और औजार बनाना जानते थे.
- ,मौर्यकाल में स्तूप बनाए जाते थे. अशोक ने कई स्तूप बनवाये. सातवाहन राजाओं ने इसको विकसित किया. चैत्य (मंदिर) और विहार (निवास-स्थान) भी बनाए गए. पहाड़ों को काटकर इन्हें गुफानुमा बनाया जाता था.
- भारत में सिन्धु सभ्यता काल में मूर्तियाँ बनाई जाती थीं. खुदाई से कई मूर्तियाँ मिली हैं. मौर्यकाल में स्तम्भों पर पशु-पक्षियों की मूर्तियाँ बनाई जाती थीं. सारनाथ का स्तम्भ प्रसिद्ध है.
- कुषाणकाल में यूनानी शैली में गांधार के शिल्पकारों ने बुद्ध और कुषाण राजाओं की मूर्तियाँ बनाई थीं. गुप्तकाल में बुद्ध के साथ शिव और विष्णु की मूर्तियाँ भी बनने लगीं.
- सिन्धुकाल में लोग मिट्टी के बर्तनों पर लाल, हरा, पीला और काले रंगों से चित्र बनाते थे. वैदिक काल में यज्ञ की वेदिकाओं पर चित्र बनाया जाता था. उत्तर वैदिक काल में राजाओं के घरों की दीवारों पर चित्र बनाए जाते थे.
- गुप्तकाल में चित्रकला का अधिक विकास हुआ. अधिकांश चित्र राजाओं के जीवन पर आधारित थे. मनुष्य के साथ प्रकृति के चित्र भी बनाए जाते थे.
- चालुक्य राजाओं ने चित्रकला को प्रोत्साहन दिया. अजन्ता और एलोरा की गुफाओं के चित्र भी प्रसिद्ध हैं.
- प्राचीन भारत में विज्ञान काफी विकसित था. लोगों को रेखागणित, बीजगणित, ज्योतिष विज्ञान और नक्षत्रों का ज्ञान था. अरबों ने भारतीय गणित की जानकारी यूरोपवासियों को दी थी. आर्यभट्ट, वराहमिहिर, भास्कर और ब्रह्मगुप्त प्रसिद्ध वैज्ञानिक थे.
- भारत में औषधियों से कई रोगों का इलाज किया जाता था. वैदिक काल में आयुर्वेद चिकित्सा की प्रगति हुई. इसमें जड़ी-बूटियों से दवा बनाई जाती थी. उस समय वैज्ञानिकों को मनुष्य की शारीरिक बनावट का ज्ञान था. मानसिक रोग मन्त्र-उच्चारण के द्वारा दूर किया जाता था. प्रसिद्ध आयुर्वेद चिक्तिसकों में चरक, सुश्रुत और धन्वन्तरी का नाम आता थाई. अरबों ने इस विज्ञान का यूरोप में प्रचार किया.
- प्राचीन भारत में रसायनशास्त्र, भौतिकशास्त्र, वनस्पति और प्राणिविज्ञान का भी अध्ययन होता था.
- प्राचीन भारत में प्रौद्योगिकी के साक्ष्य मिले हैं. अनेक स्थलों पर कच्ची धातुओं के प्रयोग के प्रमाण मिले हैं. सिक्के और मोहरों की ढलाई में धातु का उपयोग होता था.
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