नासा ने हाल ही में घोषणा की है कि उसे 8 ग्रहों वाला एक नया सौर मंडल मिला है जिसका नाम Kepler-90 system है. इस ऐतिहासिक खोज को अंजाम दिया Kepler नामक एक spacecraft ने. यहाँ पर ध्यान देने लायक तीन बातें हैं –
Important things to know about KEPLER
- Kepler – एक अंतरिक्ष यान (spacecraft) का नाम है जिसमें एक शक्तिशाली telescope लगा हुआ है. इस telescope को सौरमंडल से बाहर स्थित ग्रहों को खोजने के लिए बनाया गया है. इसका नाम जोहान्स केप्लर के नाम पर रखा गया है जो स्वयं एक प्रसिद्ध जर्मन गणितज्ञ और खगोलविद् थे.
- Kepler 90i – यह एक ग्रह का नाम है.
- Kepler 90 – एक तारे का नाम है जिसके चारों ओर Kepler 90i सहित 7 अन्य ग्रह घूमते हैं.
- केपलर 90 पहला एक ऐसा तारा है जिसके चारों ओर उतने ही ग्रह परिक्रमा करते हैं जितना हमारे सोलर सिस्टम में सूर्य के चारों ओर करते हैं.
- “केपलर 90i” एक ऐसे नए ग्रह का नाम है जो एक चट्टानी ग्रह है, लेकिन सूर्य के करीब होने के चलते पृथ्वी की तुलना में कहीं अधिक गर्म है. यह पृथ्वी से 2,545 प्रकाश वर्ष (light years) दूर है और पृथ्वी से 30% बड़ा भी है. यह अपने तारे (Kepler 90) की परिक्रमा 14 दिन में करता है.
- हमारी पृथ्वी की तुलना में, Kepler 90 सिस्टम में ग्रह अपने तारे की परिक्रमा अधिक नजदीकी से करते हैं. यानी Kepler 90 system का कोई भी ग्रह यूरेनस या प्लूटो इतना सूर्य से दूर नहीं है.
- इसने TRAPPIST-1 system को पीछे छोड़ दिया, जिसके चारों ओर परिक्रमा लगाने वाले ग्रहों की संख्या सात थी. TRAPPIST -1 को हाल-हाल तक सबसे बड़ा सौर मंडल माना जाता था.
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