नीचे प्रमुख आयोग/समिति (commission and committee) की लिस्ट दी गई है. ये भी जानेंगे कि इन committees/commissions के recommendations क्या थे.
Important Commission/Committee
संविधान की प्रारूप समिति
(अध्यक्ष – डॉ. बी.आर. अम्बेडकर – संविधान को लिपिबद्ध करना)
सरदार स्वर्ण सिंह समिति (1976)
संवैधानिक सुधार (मूल कर्तव्यों के समावेश की संस्तुति)
सीतलवाड़ी समिति (1966)
राज्यों को अधिक स्वायत्तता प्रदान की संस्तुति
राजमन्नार समिति (तमिलनाडु सरकार, 1969)
- अवशिष्ट विषय या तो समाप्त कर देने काही अथवा राज्यों को दिए जाने चाहिए.
- अन्तर्राज्यीय परिषद् का गठन किया जाना चाहिए.
- अखिल भारतीय सेवाओं को समाप्त किया जाना चाहिए.
सरकारिया आयोग (केंद्र-राज्य सम्बन्ध, 1983)
- अंतर्राज्यीय परिषद् का गठन होना चाहिए.
- निगम कर का राज्यों के साथ बँटवारा
- अखिल भारतीय सेवाओं को सशक्त बनाना
- राज्यपाल को नियुक्त करने से पहले मुख्यमंत्री की सलाह
दर आयोग (एस.के. दर, 1947-48)
राज्यों का पुनर्गठन मात्र भाषा के आधार पर नहीं होना चाहिए.
जे.वी.पी. समिति (जवाहरलाल नेहरु, बल्लभभाई पटेल, पट्टाभिसीतारमैया 1948)
राज्यों के पुनर्गठन में देश की सुरक्षा, एकता और आर्थिक समृद्धि को ध्यान में रखा जाना चाहिए.
राज्य पुनर्गठन आयोग (सैयद फजल अली, ह्रदयनाथ कुजरू, के.एम. पणिक्कर, 1956)
राज्यों के पुनर्गठन के लिए भाषा के आधार को स्वीकार किया, इसी के आधार पर राज्य पुनर्गठन अधिनियम बनाया गया.
लोक लेखा समिति (22 सदस्य : 15 लोक सभा + 7 राज्य सभा)
- भारत सरकार के लोक लेखे और नियंत्रक महालेखाकार के प्रतिवेदन का निरीक्षण करती है.
- अपव्यय को रोकने के लिए यह सुनिश्चित करती है कि लोक-धन संसद के निर्णयों के अनुसार ही खर्च किया जाए.
प्राक्कलन समिति (30 सदस्य लोक सभा)
- प्रशासनिक दक्षता और मितव्ययता बढ़ाने के सम्बन्ध में वैकल्पिक नीतियों का सुझाव देना.
- प्राक्कलन की सीमा में ही धन निकाला जाए, इसका परीक्षण करना.
कोठारी आयोग (डी.एस. कोठारी, 1976)
भारतीय उच्च सिविल सर्विसेज में परीक्षा और भारती संबंधी नीतियाँ और विधि
राष्ट्रीय पुलिस आयोग (धर्मवीर, 1979)
पुलिस सुधार के लिए संस्तुतियाँ
नियोगी समिति (के.सी. नियोगी, 1946)
आर्थिक नियोजन के लिए मंत्रिपरिषद के प्रति उत्तरदायी संगठन की सिफारिश.
प्रशासनिक सुधार आन्दोलन (मोरारजी देसाई 1996-67) और के.हनुमंतय्या (1967-70)
व्यापक प्रशासनिक सुधार के लिए सुझाव दिए.
बलवंत राय मेहता समिति (1956-57)
त्रिस्तरीय पंचायती राज संस्थाओं के गठन की संस्तुति.
अशोक मेहता समिति (1977-78)
द्विस्तरीय पंचायती राज संस्थाओं की संस्तुति
वी.एम. तारकुंडे समिति (चुनाव सुधार, 1974)
- मतदाता की आयु 21 से घटाकर 18 करना.
- चुनाव प्रचार में सरकारी धन और तंत्र का उपयोग न करें.
पी.सी. होता समिति (2002-04) सिविल सेवा
- प्रारम्भिक परीक्षा में बैठने के लिए आयु 21 से 24 वर्ष होनी चाहिए.
- सिविल सेवा को अधिक दक्ष और भ्रष्टाचार रहित बनाने के लिए सुझाव.
केंद्र-राज्य सम्बन्धों पर आयोग (मदन मोहन पुंछी)
अप्रैल 2007 में केंद्र सरकार ने केंद्र-राज्य सम्बन्धों की समीक्षा हेतु एक आयोग गठित किया. आयोग ने अप्रैल 2010 में रिपोर्ट प्रस्तुत कर दी.
द्वितीय प्रशासनिक सुधार आयोग (वीरप्पा मोइली, 2005-08)
व्यापक प्रशासनिक सुधारों की संस्तुति.
बासवान समिति, 2016
इस समिति को retired IAS office B.S. बासवन की अध्यक्षता में गठित की गई. इस समिति ने सिविल सेवा परीक्षा में बदलाव करने का सुझाव दिया गया.
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