Sansar Daily Current Affairs, 04 April 2020
GS Paper 2 Source: The Hindu
UPSC Syllabus : Government policies and interventions for development in various sectors and issues arising out of their design and implementation.
Topic : What is the National Security Act?
संदर्भ
स्वास्थ्य कर्मियों के साथ अभद्रता करने और उन पर हमला करने वाले लोगों के साथ उत्तर प्रदेश सरकार ने कड़ाई से पेश आने का निर्देश दिया और कहा कि इनके खिलाफ कानूनन कड़ी से कड़ी कार्रवाई की जाए एवं ऐसे सभी लोगों पर राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम लगाने का निर्देश दिया है.
राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम क्या है?
- राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम -1980, देश की सुरक्षा के लिए सरकार को अधिक शक्ति देने से संबंधित एक कानून है. यह कानून केंद्र और राज्य सरकार को किसी भी संदिग्ध नागरिक को हिरासत में लेने की शक्ति देता है.
- रासुका यानी राष्ट्रीय सुरक्षा कानून 23 सितंबर, 1980 को इंदिरा गांधी की सरकार के दौरान इसे बनाया गया था. ये कानून देश की सुरक्षा प्रदान करने के लिए सरकार को अधिक शक्ति देने से संबंधित है. यह कानून केंद्र और राज्य सरकार को संदिग्ध व्यक्ति को हिरासत में लेने की शक्ति देता है.
- अगर सरकार को लगता है कि कोई व्यक्ति उन्हें देश की सुरक्षा सुनिश्चित करने वाले कार्यों को करने से रोक रहा है तो उसे हिरासत में लिया जा सकता है.
- यदि सरकार को लगता है कि कोई व्यक्ति कानून व्यवस्था को सुचारू रूप से चलाने में उसके सामने बाधा खड़ी कर रहा है को वह उसे हिरासत में लेने का आदेश दे सकती है. इस कानून का इस्तेमाल जिलाधिकारी, पुलिस आयुक्त, राज्य सरकार अपने सीमित दायरे में भी कर सकती है.
- राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम-1980 (NSA) के तहत किसी भी संदिग्ध व्यक्ति को बिना किसी आरोप के 12 महीने तक जेल में रखा जा सकता है. राज्य सरकार को यह सूचित करने की आवश्यकता है कि NSA के तहत एक व्यक्ति को हिरासत में लिया गया है.
- राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम के तहत हिरासत में लिए गए व्यक्ति को उनके खिलाफ आरोप तय किए बिना 10 दिनों के लिए रखा जा सकता है. हिरासत में लिया गया व्यक्ति उच्च न्यायालय के सलाहकार बोर्ड के समक्ष अपील कर सकता है लेकिन उसे मुकदमे के दौरान वकील की अनुमति नहीं है.
इतिहास
राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम (NSA) के अंतर्गत भीम आर्मी के चीफ चंद्रशेखर को कई महीने तक जेल में रखा गया था. वहीं इस कानून के तहत मणिपुर के पत्रकार किशोरचंद्र वांगखेम को जेल में रखा गया था. सोशल मीडिया पर सरकार की आलोचना करने पर उन्हें नवंबर 2018 में गिरफ्तार किया गया था. वह 133 दिन जेल में रहे थे.
GS Paper 2 Source: Down to Earth
UPSC Syllabus : Issues related to health.
Topic : Bacillus Calmette-Guerin (BCG) vaccination
संदर्भ
अमेरिकी शोधग संस्थान ने विश्व-भर में फैले कोरोना संक्रमण की वर्तमान स्थिति के आधार पर भविष्य की स्थिति का आकलन किया है. इसके परिणाम भारत सहित उन देशों के लिए सुखद हैं, जहां सालों से बीसीजी (बैसिलस कैलमेट-गुएरिन) का टीका लगता आया है.
वहीं जिन देशों के लोगों को यह टीका कभी नहीं लगा, उन्हें कोरोना से खतरा ज्यादा है. हालांकि, अंतिम निष्कर्ष के लिए विस्तृत अध्ययन की बात कही गई है.
बीसीजी (बैसिलस कैलमेट-गुएरिन) का टीका क्या है?
- यह टीका टीबी से बचाव के साथ सांस संबंधी संक्रमण से रक्षा करने में मदद करता है. यह जन्म से छह माह में लगता है.
- यह टीका माइकोबैक्टीरियम बोविस का एक जीवित कमजोर रूप है जिसके कारण मवेशियों में टीबी होता है. मनुष्यों में टीबी का कारण माइकोबैक्टीरियम ट्यूबरकुलोसिस बैक्टीरिया है.
- भारत में आजादी के बाद से बीसीजी का टीका लग रहा है. वर्ष 1948 में मद्रास और तमिलनाडु में बीसीजी वैक्सीन लैब स्थापित की गई थी. 1962 में राष्ट्रीय टीबी नियंत्रण कार्यक्रम के जरिये बीसीजी वैक्सीनेशन में शामिल हुआ. बीसीजी ने पहले ही SARS संक्रमण के खिलाफ अपनी प्रभावशीलता साबित कर दी थी.
- वर्ष 1978 में राष्ट्रीय टीकाकरण कार्यक्रम में शामिल किया गया और अब भी जारी है. वर्ष 1978 के पहले लोग निजी क्षेत्र में यह टीका लगवाते थे.
बीसीजी कोरोना की मानक क्षमता को कैसे कमजोर बनाता है?
- मेलबर्न के एक रिसर्च पेपर में इंस्टीट्यूट के इंफेक्शन डिजीज हेड निगल कॉर्टेज ने कहा है कि बीसीजी इम्यून सिस्टम को बूस्ट करता है और बैक्टीरिया व वायरस से लड़ने में मदद करता है.
- इसके पीछे तर्क दिया गया है कि कम उम्र में बीसीजी लगने की वजह से यह इम्यून थेरेपी के साथ ही शरीर को संक्रमण से लड़ने के लिए एनर्जी देता है. डब्ल्यूएचओ ने भी माना है कि बीसीजी कोरोना की मानक क्षमता को कमजोर बनाता है.
आगे की राह
बीसीजी इम्यून थेरेपी का काम करता है. मूल रूप से इसे टीबी के लिए लगाया जाता है, लेकिन विदेशों में किए गए अध्ययन में यह बात सामने आ रही है कि जहां यह टीकाकरण लंबे समय से चल रहा है, वहां कोरोना से मृत्युदर कम है. यह भारत के लिए संतोष की बात है, क्योंकि यहां नवजात को नियमित पहला टीका बीसीजी का ही लगता है.
GS Paper 2 Source: The Hindu
UPSC Syllabus : Important International institutions, agencies and fora, their structure, mandate.
Topic : Asian Infrastructure Investment Bank (AIIB)
संदर्भ
एशियाई अवसंरचना निवेश बैंक भारत के बुनियादी ढांचे में 10 करोड़ डॉलर निवेश करेगा. निवेश की यह घोषणा भारत के लिए महत्वपूर्ण है क्योंकि पहले ही मुश्किलों से घिरी अर्थव्यवस्था कोरोना वायरस महामारी के चलते भारी संकट का सामना कर रही है.
एशियाई अवसंरचना निवेश बैंक क्या है?
- AIIB का full-form है – Asian Infrastructure Investment Bank
- AIIB बैंक एक अंतर्राष्ट्रीय वित्तीय संस्था है जिसका मुख्यालय बीजिंग, चीन में है.
- इसकी स्थापना 2014 में हुई थी और इसके कार्यकलाप 2016 में प्रारम्भ हुए थे.
- अब इसमें विश्व-भर के102 देश इसके सदस्य हो गये हैं. (AIIB के ऑफिसियल वेबसाइट में – Click here, विकीपीडिया में गलत इनफार्मेशन है)
- इस बैंक को एशियाई क्षेत्र में बुनियादी ढांचे के विकास के उद्देश्य से बनाया गया है.
- यह बैंक चीन की सरकार द्वारा प्रस्तावित किया गया था.
- हाल ही में भारत, चीन की अगुवाई वाली एशियाई इन्फ्रास्ट्रक्चर इन्वेस्टमेंट बैंक का सबसे बड़ा लाभार्थी के रूप में उभरा है.
- NIIF की स्थापना 2015 में हुई थी.
- NIIF की स्थापना आधारभूत संरचना के क्षेत्र में रुकी हुई परियोजनाओं, व्यवसायिक रूप से संचालित हो सकने वाले ग्रीनफ़ील्ड, ब्राउनफील्ड में निवेश करने के लिए हुई थी.
GS Paper 3 Source: The Hindu
UPSC Syllabus : Money laundering related issues.
Topic : What is Round-tripping?
संदर्भ
उच्चतम न्यायालय ने न्यू दिल्ली टेलीविजन लिमिटेड (एनडीटीवी) को एक बड़ी राहत देते हुए आयकर विभाग द्वारा जारी नोटिस को रद्द कर दिया.
पृष्ठभूमि
- आयकर विभाग ने विदेशी स्रोतों से कथित तौर पर एनडीटीवी को प्राप्त हुए करोड़ों रुपयों के लिए वित्त वर्ष 2007-08 के आयकर आकलन का फिर से आकलन करने के लिए नोटिस जारी किया था.
- आकलन अधिकारी ने कंपनी द्वारा आय छिपाने के आधार पर आयकर अधिनियम की धारा 148 के तहत एनडीटीवी को नोटिस जारी किया था.
- इस मामले में एनडीटीवी पर 2007 में अपने गैर-समाचार कारोबार के लिए विदेशी निवेश जुटाने के दौरान मनी लॉन्ड्रिंग का बेबुनियाद आरोप लगाया गया था. उच्चतम न्यायालय ने रेवेन्यू डिपार्टमेंट को उस असेसमेंट को फिर से खोलने की इजाज़त देने से इनकार किया, जिस पर बरसों पहले फ़ैसला हो चुका था.
- 2015 में टैक्स अधिकारियों ने इसकी मांग की थी और आरोप लगाया था कि NDTV ने तथ्य छिपाए हैं और पैसे को राउंड-ट्रिप कराया है. उच्चतम न्यायालय ने आज इसकी इजाज़त नहीं दी.
राउंड ट्रिपिंग क्या है?
- राउंड ट्रिपिंग का सरल मतलब है किसी व्यक्ति, धन, वस्तु आदि का उस स्थान पर वापस लौट आना, जहां से वह चला हो.
- काले धन के मामले में राउंड ट्रिपिंग तब होती है जब कंपनियां विभिन्न स्रोतों से धन किसी टैक्स हैवन देश में भेजती हैं और वहां से अन्य स्रोत से फिर वापस अपनी किसी भारतीय कंपनी में निवेश करा लेती हैं. इससे काले धन को तो सफेद बनाया ही जाता है, साथ में दोनों देशों में टैक्स भी बचाया जा सकता है.
- इसके कई स्रोत होते हैं जैसे किसी विदेशी फंड में निवेश करना, ग्लोबल डिपॉजिटरी रीसीट (GDR) या पार्टिसिपेटरी नोट्स (P-Notes) में निवेश करना और फिर विदेश स्थि,त फंड या कंपनी द्वारा वापस किसी भारतीय एसेट में निवेश करना.
चिंता का विषय
भारत में आने वाला एफडीआई और फिर यहां से बाहर जाने वाला एफडीआई का बड़ा हिस्सा भी इन टैक्स हैवन देशों के माध्यम से ही होता है. ‘पार्टिसिपेटरी नोट्स’ की, जिसके जरिए विदेशी निवेशकों को भारतीय प्रतिभूतियों (सिक्योरिटीज) में निवेश करने की इजाजत तो होती है, लेकिन वे भारतीय नियामकों की आंखों से ओझल रहते हैं. इस दस्तावेज में मॉरिशस, केमैन द्वीपसमूह और सिंगापुर के रास्ते विदेशी निवेश के तरीके को अ-मान्य भी नहीं किया गया है (निवासी भारतीय “राउंड ट्रिपिंग” के लिए, यानी अपनी खुद की कंपनियों में काले धन का निवेश करने के लिए इस तरीके का इस्तेमाल करते हैं, और विदेशी निवेशक भी कर-भुगतान से बचने के लिए ऐसा करते हैं). हालांकि, इस बात को स्वीकार किया गया है कि इन अत्यंत छोटे राज्यों से आनेवाला विशाल निवेश काला धन हो सकता है, जो ‘श्वेत धन’ के रूप में भारत में पुनः प्रवेश कर रहा है. और, श्वेत पत्र में इस बड़े सवाल को पूरी तरह अनुत्तरित छोड़ दिया गया है कि भारत में काले धन की वास्तविक मात्रा क्या है.
Prelims Vishesh
What is Community Reserves? :-
- भारत के संरक्षित क्षेत्र को IUCN द्वारा निर्धारित दिशानिर्देशों के अनुसार परिभाषित किया गया है. मुख्य रूप से चार प्रकार के संरक्षित क्षेत्र हैं – राष्ट्रीय उद्यान, वन्यजीव अभयारण्य, संरक्षण रिज़र्व, सामुदायिक रिज़र्व.
- भारत में संरक्षण रिज़र्व और सामुदायिक रिज़र्व उन सुरक्षित क्षेत्रों को कहते हैं जो स्थापित राष्ट्रीय उद्यानों, वन्यजीव आश्रयणियों, आरक्षित-सुरक्षित वनों के लिए बफर क्षेत्र अर्थात् सम्पर्क पथ एवं परिव्रजन गलियारे के रूप में काम करते हैं.
- ये सुरक्षित क्षेत्र सबसे पहले वन्यजीव (सुरक्षा) संशोधन अधिनियम, 2002 के द्वारा वर्गीकृत किये गये थे.
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