शेल और शेल गैस क्या हैं? शेल बारीक कण वाली तलछटी चट्टाने हैं जो पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस के समृद्ध स्रोत होती हैं. शेल गैस वह प्राकृतिक गैस (natural gas) है जो शेल चट्टानों के बीच फंसी होती है. सामान्य प्राकृतिक गैस और शेल गैस के निर्माण में अंतर पृथ्वी के अन्दर जमा सामान्य प्राकृतिक गैस (conventional natural gas) धीरे-धीरे … Read More
भारत में वर्षा का वितरण और दक्षिण-पश्चिमी मानसून
मध्य जून (आषाढ़) से मौसम एकाएक बदलने लगता है. आकाश बादलों से घिरने लगता है और दक्षिण-पश्चिमी पवन चलने लगते हैं. ये पवन “दक्षिण-पश्चिमी मानसून” के नाम से प्रसिद्ध हैं क्योंकि मूलतः ये दक्षिण-पश्चिम से शुरू होते हैं. इस मानसून के आते ही तापक्रम में काफी गिरावट आ जाती है, अर्थात् तापक्रम घटने लगता है. मगर वायु में नामी बढ़ … Read More
महासागर के भौगोलिक प्रदेश – Continental Shelves, Slopes and Deep Sea
महासागर को तीन भगौलिक प्रदेशों में बाँटा जा सकता है – 1. महादेशीय निधायों का प्रदेश (Continental Shelves) 2. महादेशीय ढलानों (Continental Slope/slopes) का प्रदेश, और 3. अथाह समुद्री तल (Deep Sea Floor) प्रदेश. चलिए जानते हैं इन सभी के बारे में in Hindi. महादेशीय निधाय (Continental Shelf) Continental Shelf यद्यपि समुद्र से सम्बन्ध रखता है पर यह अन्य दो … Read More
अटलांटिक महासागर की जलधाराएँ – Currents of the Atlantic Ocean
आज हम अटलांटिक महासागर की जलधाराओं (Currents of the Atlantic Ocean) के बारे में जानेंगे. इसके कितने प्रकार (types) हैं औरये कब-कहाँ बहती हैं और इनके नाम कब और कैसे बदल जाते हैं, ये सब की चर्चा करेंगे. नोट: यदि आप इस पोस्ट को बिना Map reading के पढ़ने वाले हैं तो आपके दिमाग में कुछ नहीं आने वाला है. … Read More
ज्वालामुखी क्या है और इसके प्रकार : All info about Volcano
आज हम इस पोस्ट के माध्यम से ज्वालामुखी क्या है, यह कैसे उत्पन्न होता है और इसके कितने प्रकार हैं आदि का अध्ययन करेंगे. क्यों न इस पोस्ट की शुरुआत हम ज्वालामुखी के इतिहास से करें जिससे हमें इसके बारे में समझने में आसानी भी हो और पढ़ने में दिलचस्प भी हो. ज्वालामुखी का इतिहास एक हजार वर्ष से ऊपर … Read More
[भूगोल मानचित्र] समभार रेखाएँ : Isobars Explained in Hindi
मानचित्र पर वायुभार का वितरण समभार-रेखाओं (lines of isobars) द्वारा प्रदर्शित किया जाता है. ये वे रेखाएँ हैं जो समान भार के स्थानों को मिलाते हुए खींची जाती हैं. चूँकि वायुभार ऊँचाई के अनुसार घटता जाता है इसलिए ऊँचाई का अंतर (प्रति 900 ft पर 1 इंच कम) निकाल देना जरुरी होता है, अर्थात् समभार-रेखा खींचने में सभी स्थानों का … Read More
वायुभार – Information about Pressure of the Air
पृथ्वी की आकर्षण-शक्ति (gravitational power) के चलते प्रत्येक वस्तु में अपना एक विशेष भार होता है. ऐसी वस्तुओं में भी, जो देखी नहीं जा सकतीं, भार (दबाव) मिलता है. वायु एक ऐसी ही वस्तु है. पृथ्वी को घेरती हुई सैंकड़ों मील की मोटी परत में यह विस्तृत है. इसकी सबसे अधिक घनी तह (fold) पृथ्वी के नजदीक मिलती है. जैसे-जैसे … Read More
वर्षा के Types, Reasons, Measurement और Distribution
वर्षा (Rain) के लिए दो बातों का होना अत्यंत आवश्यक है – वायु में पर्याप्त जलवाष्प का होना और ऐसे साधन का होना जिससे वाष्पयुक्त वायु ठंडी होकर घनीभूत (condensate) हो सके. आज हम वर्षा के विषय विस्तृत जानकारी (information) आपको देने वाले हैं. आज हम इस लेख में पढेंगे कि वर्षा कैसे होती है, इसके कितने प्रकार (types) हैं, … Read More
चक्रवात के विषय में विस्तृत जानकारी : Cyclone Info in Hindi
परिभाषा: चक्रवात निम्न वायुदाब के केंद्र होते हैं, जिनके चारों तरफ केन्द्र की ओर जाने वाली समवायुदाब रेखाएँ विस्तृत होती हैं. केंद्र से बाहर की ओर वायुदाब बढ़ता जाता है. फलतः परिधि से केंद्र की ओर हवाएँ चलने लगती है. चक्रवात (Cyclone) में हवाओं की दिशा उत्तरी गोलार्द्ध में घड़ी की सुई के विपरीत तथा दक्षिण गोलार्द्ध में अनुकूल होती … Read More
तापान्तर – Meaning of Range of Temperature in Geography
तापान्तर से मतलब किसी स्थान के उच्चतम तापक्रम (temperature) और निम्नतम तापक्रम के अंतर से होता है. आइये जानते हैं इस word के बारे में जो अक्सर भूगोल की किताबों में देखा जाता है. तापान्तर तापान्तर दैनिक हो सकता है और वार्षिक भी. पृथ्वी के अधिकतर स्थानों में जनवरी और जुलाई के तापमानों में ही सबसे अधिक अंतर मिलता है. … Read More